स्वर्ग में ताले लटक रहे हैं, सारा जग अपराधी है! मानव भटक गया धरती पर, होड़ लगी है गिरने की । भौतिकता के पागलपन में, सुध न रही भव तिरने…
Read more »पढ़े जीवन सार कोई ढो रहा है भार कोई हाथ में ले, हाथ मेरा ले गया मझधार कोई छा गया मन पर अचानक छेड़ वीणा - तार कोई आपसे जुड़ …
Read more »नारी और पुरुष की महत्ता जग में एक सामान है नारी ही अब कर सकती अपने देश का कल्याण है आदिकाल में ऋषि मुनियों ने ,नारी का मान बढ़ाया जहाँ नारी सम…
Read more »तेरे बिन जीवन में जीवन जैसा, कुछ भी नही रंगो की दुनिया, तेरे बिन बेरंग है कही सर्द रातों की धुन्ध भरी चांदनी, सितारे धूसर से है, तेरे बिन …
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