वो तेरी बात है,
सुकून जिससे मिलता है
वो तेरी याद है.
जीने की जो वजह मिलती
वो तेरा साथ है,
हर पल जो तुमसे मुझे
जोड़ती हैं
वो तेरी मुस्कुराहट हैं.
जो मुझमें दीवानगी हद
से बढ़ा दे
वो तेरा शुरूर हैं,
तु जो मेरे क़रीब है
ये ख़ुदा की नेमत है
तेरे साथ तेरी बात तेरा प्यार
इन सबके बाद भी
क्या कोई बाक़ी बात है?
दिल के हर कोने में
मचल रहा कई सवाल है ।
-रीना अग्रवाल
सालेहा, उडीसा